
पटना। विधानसभा चुनाव को लेकर भाजपा प्रदेश चुनाव समिति की शनिवार को पहली बैठक आयोजित हुई। बिहार भाजपा अध्यक्ष दिलीप जायसवाल की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में 125 विधानसभा सीटों के लिए 600 से अधिक संभावित उम्मीदवारों के नामों की सूची पेश की गई।
बैठक में बताया गया कि 80 सीटों पर वर्तमान विधायकों के अलावा 5 से 6 कार्यकर्ताओं ने भी टिकट के लिए दावेदारी की है। दिलचस्प बात यह रही कि 52 संगठनात्मक जिलों के कोर ग्रुप की ओर से ही 500 से ज्यादा आवेदन प्राप्त हुए हैं।
करीब 100 दावेदारों ने सीधे प्रदेश संगठन के समक्ष चुनाव लड़ने की इच्छा जताई है। चुनाव समिति के एक सदस्य के अनुसार, यह बैठक फिलहाल औपचारिक रही और सीट बंटवारे के बाद अगली बैठक में विस्तृत चर्चा की जाएगी।
इन विधायकों पर टिकी नजर
पार्टी की बैठक में अलीनगर विधायक मिश्रीलाल यादव, नरकटियागंज विधायक रश्मि वर्मा, और रामनगर विधायक भागीरथी देवी को लेकर चर्चा हुई। विश्वास मत के दौरान इन नेताओं के रुख पर पार्टी पहले से ही सतर्क थी, हालांकि अंततः सभी ने भाजपा के पक्ष में मतदान किया।
वहीं, लोरिया विधायक विनय बिहारी को लेकर भी पार्टी के अंदर आशंका बनी हुई है और उनके टिकट पर निर्णय चुनाव समिति करेगी।
कट सकते हैं कुछ नेताओं के टिकट
सूत्रों के मुताबिक, कुछ वरिष्ठ, निष्क्रिय और सर्वे में कमजोर प्रदर्शन करने वाले विधायकों के टिकट कटने की संभावना है। इसके अलावा, पार्टी अनुशासन तोड़ने वाले और असंतोष जताने वाले विधायकों को भी सूची से बाहर किया जा सकता है।
समिति के समक्ष कुछ सांसदों और विधायकों के पुत्रों को चुनाव लड़ाने के प्रस्ताव भी रखे गए। वहीं, पार्टी कुछ पूर्व सांसदों को भी चुनाव मैदान में उतारने पर विचार कर रही है।
इन दिग्गजों की रही मौजूदगी
बैठक में बिहार चुनाव प्रभारी और केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान, सह प्रभारी एवं उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, बिहार के उप मुख्यमंत्री विजय सिन्हा, केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, नित्यानंद राय, चुनाव समिति के सचिव प्रेम रंजन पटेल सहित समिति के अन्य सदस्य मौजूद रहे।